राष्ट्रिय मानसिक स्वास्थ्य कार्यक्रम के अंतर्गत जिला चिकित्सालय पुरुष बांदा में शिविर का आयोजन किया गया। जिसका उद्घाटन मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ अनिल कुमार श्रीवास्तव मुख्य चिकित्सा अधीक्षक डॉ संपूर्णानंद मिश्रा एवं जिला नोडल अधिकारी एनसीडी डॉ विजय केसरवानी ने फीता काटकर किया।
शिविर में मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ अनिल कुमार श्रीवास्तव ने बताया कि यदि आप किसी प्रकार का भी नशा करते हैं तो वह आपको, आपके परिवार को, आपके समाज को प्रभावित करता है।
इसलिए प्रयास करिये कि आप नशा छोड़े उसके लिए काउंसलिंग बहुत आवश्यक है। जिला नोडल अधिकारी ने बताया कि यदि आप नशा छोड़ने का प्रयास करते हैं तो आप मानसिक रूप से स्वस्थ रहते हैं किसी प्रकार का भी नशा आपको मानसिक रूप से अस्वस्थ कर सकता है।
मुख्य चिकित्सा अधीक्षक द्वारा बताया गया कि गुटखा, पान तंबाकू ,सिगरेट, शराब आदि का सेवन सामाजिक, मानसिक और आर्थिक रूप से कमजोर बना देती है इसलिए इसका सेवन ना करें और ना ही किसी को करने दें। अनुश्रवण एवं मूल्यांकन अधिकारी नरेंद्र कुमार मिश्रा ने बताया कि हमें नशा छोड़ने के लिए काउंसलिंग एवं योग का सहारा लेना चाहिए इसके अलावा जिला चिकित्सालय पुरुष बांदा में कमरा नंबर 4 मन कक्ष में साइकोलॉजिस्ट लवलेश व अनामिका त्रिपाठी द्वारा काउंसलिंग की जाती है।
शिविर में मनोरोग चिकित्सक डॉ हर दयाल द्वारा एक सैकड़ा मरीजों का परीक्षण किया गया। जिसमें 61मानसिक रोगियों को साइकाइट्रिक नर्स त्रिभुवन नाथ द्वारा निशुल्क दवा वितरित की गई, सहायक अशोक कुमार द्वारा पंपलेट बांटकर लोगों को जागरूक किया गया । तंबाकू नियंत्रण से डॉ रामवीर, सोशल वर्कर कुलसुम हाशमी ने तंबाकू छोड़ने के लिए लोगों को प्रेरित किया ।फिजियोथैरेपिस्ट निशांत मौर्या, ऑडियो मैट्रिक शिवशरन, नर्स ज्योति कुमारी, काउंसलर चंद्रेश गुप्ता एवं विपिन त्रिपाठी कंसलटेंट अरविंद कुमार ने भी अपनी सेवाएं दी।
गुड मॉर्निंग भारत संवाददाता महेन्द्र प्रताप की रिपोर्ट।