हरियाणा में अब बनेगा नया कानून
प्राप्त सूचना के अनुसार 15 दिसंबर से शुरू होने वाले विधानसभा के शीतकालीन सत्र में इस विधेयक को पेश किया जाएगा। इसके अलावा शव को सड़क पर रखकर जाम लगाने वालों के खिलाफ भी इसमें कार्रवाई का प्रावधान होगा।
हरियाणा सरकार का मृत शरीर सम्मान विधेयक 2003 का ड्राफ्ट तैयार
हरियाणा में निजी अस्पतालों की बढ़ रही मनमानी पर लगाम लगाने के लिए प्रदेश सरकार नया कानून ला रही है। इसके तहत हरियाणा में अब पूरा बिल अदा नहीं करने पर निजी अस्पताल मरीज के शव को परिजनों को देने से इंकार नहीं कर सकेंगे। अगर कोई ऐसा करेगा तो उसके लिए उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई का प्रावधान होगा। इस संबंध में हरियाणा सरकार ने हरियाणा मृत शरीर सम्मान विधेयक 2003 का ड्राफ्ट तैयार किया है।
संभावना है कि 15 दिसंबर से शुरू होने वाले विधानसभा के शीतकालीन सत्र में इस विधेयक को पेश किया जाएगा। इसके अलावा शव को सड़क पर रखकर जाम लगाने वालों के खिलाफ भी इसमें कार्रवाई का प्रावधान होगा। यही नहीं, अगर परिजन राजी नहीं होते तो पुलिस और प्रशासन मिलकर शव का अंतिम संस्कार कराएंगे ताकि सड़क पर मृत देह की बेकद्री न हो। इससे ट्रैफिक जाम होने की मुश्किल से भी लोगों को निजात मिलेगी। बता दें कि इस विधेयक को लेकर गृह मंत्री अनिल विज ने आपत्ति उठाई थी कि पहले इस कानून को जिन राज्यों ने लागू किया, वहां इसके फायदे वगैरह देख लेने चाहिए। इसके बाद ड्राफ्ट में कुछ संशोधन किए जा रहे हैं।
नए कानून को लाए जाने के पीछे ये है कारण
इस विधेयक को लाने के पीछे की मंशा मृत शरीर की गरिमा को सुनिश्चित करना है। सरकार का मानना है कि किसी की मौत होने पर उसके शरीर की गरिमा को ठेस पहुंचाना कानूनी तौर पर गलत है। हरियाणा में निजी अस्पतालों के कई मामले सामने आ चुके हैं, जिसमें बिल पूरा नहीं देने पर मरीज के शव को कब्जे में लेते हैं। इसी प्रकार, काफी संख्या में ऐसे मामले सामने आ रहे हैं कि परिजन शव को लेकर सड़कों पर जाम लगा देते हैं। इन तमाम मामलों से निपटने के लिए सरकार नया कानून ला रही है।
हरियाणा ही नही,पूरे देश में लागू होना चाहिए ऐसा कानून
प्राइवेट अस्पताल वाले आए दिन मनमानी करते रहते हैं।अवैध तरीके से धन उगाही करने के लिए मरीज के परिजनों को परेशान किया जाता है,कभी मरीज की गंभीर स्थिति का हवाला देकर गैरजरूरी दवाओं को लिखकर अपना बिल बढ़ाना,कभी पूरा बिल न दे पाने पर डेडबॉडी देने से इंकार करना और यहां तक की मरीज की मौत हो जाने के बाद भी झूठ बोलकर परिजनों से पैसा ऐंठना।
इस तरह की स्थिति को देखते हुए पूरे देश के प्राइवेट हॉस्पिटलों पर ये कानून लागू होना चाहिए।