पानी को तांबे के बर्तन में रखने के फ़ायदे

हमारी परंपरा में पानी को तांबे के बर्तन में रख कर पीने को बताया जाता है 

तांबे के बैक्टीरिया-नाशक गुणों में मेडिकल समुदाय बड़ी गहरी रुचि ले रहा है। कि पानी को ठीक तरह से भर कर रखने का योगिक महत्व क्या है और किस तरह से तांबे के बर्तनों में रखा हुआ पानी हमारे शरीर में से ज़हरीले तत्वों का सफाया करने में अहम भूमिका निभाता है।

आप जिसको “मैं” या “मानव-संरचना” कहते हैं वह दर असल एक तरह के “सॉफ्टवेयर” द्वारा रचा गया है। हम आज जानते हैं कि “सॉफ्टवेयर” का अर्थ याददाश्त होता है। हमारा शरीर हो या फिर ब्रह्मांड सही मायनों में ये पांच तत्वों के मिलने से ही बने हुए हैं – भूमि, जल, अग्नि, वायु और आकाश। सभी पांचों तत्वों की अपनी याददाश्त होती है। इसी वजह से वे ऐसा व्यवहार करते हैं।

पिछले कुछ वर्षों में कई प्रयोग हुए हैं और वैज्ञानिकों ने यह मालूम किया है कि पानी की अपनी याददाश्त होती है – यह हर उस चीज को याद रखता है जिसको यह छूता है। हमारी संस्कृति में हमें यह हमेशा से मालूम था और तरह-तरह से इस ज्ञान का हम इस्तेमाल भी करते रहे हैं। हमारी दादियों-नानियों ने हमें बताया था कि हमें हर किसी के हाथ से न तो पानी पीना चाहिए और न ही खाना खाना चाहिए। हमें ये चीजें हमेशा उन्हीं लोगों से ग्रहण करनी चाहिए जो हमसे प्रेम करते हैं और हमारी परवाह करते हैं। मंदिरों में वे आपको जल की एक बूंद देते हैं जिसको पाने के लिए अरबपतियों तक में होड़ लगी रहती है, क्योंकि यह जल आप कहीं खरीद नहीं सकते। यह जल ही है जो चैतन्‍य की स्मृति संजोये होता है। यही है तीर्थ। लोग इसको ग्रहण करना चाहते हैं जिससे यह उन्हें उनके अंतर के चैतन्‍य की याद दिलाये। यही जल-रसायन अपनी विशेष याददाश्त के आधार पर ज़हर भी बन सकता है और जीवन-अमृत भी।

ताम्बे का पानी

पानी की अपनी याददाश्त के कारण हम इस बात पर ध्यान देते हैं कि उसको कैसे बर्तन में रखें। अगर आप पानी को रात भर या कम-से-कम चार घंटे तक तांबे के बर्तन में रखें तो यह तांबे के कुछ गुण अपने में समा लेता है। यह पानी खास तौर पर आपके लीवर की देखभाल के लिए और आम तौर पर आपकी सेहत और शक्ति-स्फूर्ति के लिए उत्तम होता है। अगर पानी बड़ी तेजी के साथ पंप हो कर अनगिनत मोड़ों के चक्कर लगाकर सीसे या प्लास्टिक की पाइप के सहारे आपके घर तक पहुंचता है तो इन सब मोड़ों से रगड़ाते-टकराते गुजरने के कारण उसमें काफी नकारात्मकता समा जाती है। लेकिन पानी में याददाश्त के साथ-साथ अपने मूल रूप में वापस पहुंच पाने की शक्ति भी है। अगर आप नल के इस पानी को एक घंटे तक बिना हिलाये-डुलाये रख देते हैं तो नकारात्मकता अपने-आप खत्म हो जाती है।

यदि आप मेरी तरह हमेशा यात्रा करते रहते हैं जहां अपने अनुसार खान-पान नहीं हो पाता तो छोटे-मोटे ज़हरीले तत्व हमेशा किसी-न-किसी रूप में आपके अंदर पहुंच जाते हैं। ताम्बे का पानी इन ज़हरीले तत्वों से आपके शरीर की देखभाल करता है।

Leave a Comment